कांग्रेस की डूबती नैया से जारी है नेताओं का निकलना, हार्दिक से पहले कई दिग्गज नेता कह चुके हैं गुडबाय
नई दिल्ली। राजनीतिक हलके में कांग्रेस के बदतर हालात का जिम्मेवार पार्टी छोड़कर जानेवाले नेताओं को बताया जा रहा है। दरअसल 2019 के बाद हुए चुनावों में कांग्रेस पार्टी के कई वरिष्ठ नेताओं ने पार्टी छोड़ दी है और यह प्रक्रिया अब तक जारी है। बुधवार को हार्दिक पटेल ने कांग्रेस को गुडबाय कर दिया। इसके पहले कई दिग्गज नेताओं ने पार्टी को अलविदा कहा है। इनमें ज्योतिरादित्य सिंधिया और जितिन प्रसाद के अलावा महाराष्ट्र कांग्रेस के वरिष्ठ नेता नारायण राणे, राधाकृष्ण विखे पाटिल व साउथ की मशहूर अभिनेत्री खुशबू सुंदर हैं जिन्होंने 2019 में पार्टी से इस्तीफा दे दिया था।
चुनाव पर नजर रखने वाली संस्था ‘एसोसिएशन फार रिफार्म्स ‘ (Association for Democratic Reforms, ADR) ने पिछले साल के सितंबर माह में एक रिपोर्ट जारी किया था। इसके अनुसार 2021 से पहले के सात वर्षों के दौरान सबसे अधिक सांसदों, विधायकों और उम्मीदवारों ने कांग्रेस का हाथ छोड़कर दूसरे दलों का दामन थाम लिया।
सुनील जाखड़ ने छोड़ा पार्टी का साथ
पंजाब विधानसभा चुनाव में मिली करारी हार के बाद कांग्रेस में जारी घमासान थमता नजर नहीं आ रहा है। पार्टी के पूर्व अध्यक्ष सुनील जाखड़ ने भी कांग्रेस का दामन छोड़ दिया है। सुनील जाखड़ कांग्रेस पार्टी के नेतृत्व से तब से ही नाराज चल रहे थे जब राहुल गांधी की ‘सहमति’ के बावजूद वह पंजाब के मुख्यमंत्री नहीं बन सके थे। कांग्रेस की वरिष्ठ नेता अंबिका सोनी ने अंतिम समय पर यह कह कर स्थिति बदल दी कि अगर किसी हिंदू को मुख्यमंत्री बनाया गया तो पंजाब में आग लग जाएगी।
रिपुन बोरा ने पिछले माह दिया था इस्तीफा
अप्रैल में असम में कांग्रेस को फिर बड़ा झटका लगा जब पूर्व मंत्री व पूर्व प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष रहे रिपुन बोरा ने राज्य कांग्रेस में अंदरूनी कलह का हवाला देते हुए पार्टी को अलविदा कह दिया। कांग्रेस से इस्तीफा देने के बाद उन्होंने कोलकाता में तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) का दामन थाम लिया है।
पंजाब विधानसभा चुनाव से पहले अश्विनी कुमार ने दिया था इस्तीफा
फरवरी में पंजाब विधानसभा चुनाव से पहले पूर्व केंद्रीय कानून मंत्री अश्विनी कुमार ने कांग्रेस पार्टी से इस्तीफा दे दिया। उन्होंने ने पार्टी से इस्तीफा देकर कांग्रेस के साथ अपने दशकों पुराने रिश्ते को समाप्त कर दिए।
अप्रैल में जार्ज तिर्की ने कहा था ‘बाय’
अप्रैल में राउरकेला जिला कांग्रेस अध्यक्ष पद से कुछ दिन पूर्व इस्तीफा देने वाले पूर्व विधायक सह जिले के कद्दावर आदिवासी नेता जार्ज तिर्की ने पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से भी त्यागपत्र दे दिया। उन्होंने प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष भेजे गए अपने त्याग पत्र में कहा कि पार्टी जिले में जमीन खो रही है।
फरवरी में कांग्रेस को छोड़ भाजपा में शामिल हो गईं थीं गुलाबी गैंग की कमांडर
इसी साल फरवरी में गुलाबी गैंग की कमांडर संपत पाल (Sampat Pal) ने कांग्रेस छोड़कर भाजपा का दामन थाम लिया था। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के मंच में भाजपा के क्षेत्रीय अध्यक्ष ने सदस्यता दिलाई। संपत पाल की पहचान महिला अधिकारों के लिए देश और दुनिया में है। कांग्रेस से टिकट न मिलने के बाद खिन्न चल रही थी। उन्होंने कहा कि कांग्रेस दलालों के चंगुल में है, जिससे पार्टी का बेड़ा गर्क हो रहा है।
कांग्रेस की पोस्टर गर्ल ने भी दिया था झटका
फरवरी में ही उत्तर प्रदेश के विधानसभा चुनाव 2022 में कांग्रेस की 40 फीसद महिलाओं को प्रत्याशी बनाने की योजना से महिलाएं ही प्रभावित हैं। कांग्रेस के ‘लड़की हूं लड़ सकती हूं’ अभियान की पोस्टर गर्ल डा. प्रियंका मौर्या के बाद अब दूसरी पोस्टर गर्ल वंदना सिंह के पार्टी को छोड़ देने से कांग्रेस के नारी सशक्तिकरण अभियान को बड़ा झटका लगा है।
2021 के सितंबर माह में पूर्वांचल की राजनीति में बड़ी पैठ रखने वाले मड़िहान मीरजापुर के पूर्व विधायक ललितेशपति त्रिपाठी ने औरंगाबाद हाउस में कांग्रेस पार्टी को छोड़ने का ऐलान किया था। चार पीढ़ियों से कांग्रेस का दामन थामकर देश की राजनीति में सक्रिय रहने वाले घराने के ललितेश त्रिपाठी ने हाथ का साथ छोड़ दिया।
सिंधिया व जितिन प्रसाद पर राहुल का हमला
कांग्रेस सोशल मीडिया विभाग की मीटिंग में पूर्व पार्टी अध्यक्ष राहुल गांधी ने कड़ा रुख अपनाया। राहुल गांधी ने कहा कि बहुत से निडर लोग हैं, जो कांग्रेस में नहीं हैं। उन्हें पार्टी में लाया जाना चाहिए। वहीं, भाजपा से डरने वाले कांग्रेसियों को बाहर का रास्ता दिखाया जाना चाहिए। उन्होंने आगे कहा, ‘हमें उन लोगों की जरूरत नहीं है, जो आरएसएस की विचारधारा में विश्वास रखते हैं। हमें निडर लोगों की जरूरत है।’