बीयर की कीमतों में फिक्सिंग
मुंबई। अब बीयर की कीमतों में फिक्सिंग का मामला सामने आया है। विगत 11 साल से बीयर पीने वाले अधिक राशि चुका रहे हैं। अंतरराष्ट्रीय बीयर कंपनियों काल्र्सबर्ग सबमिलर और भारतीय कंपनी यूनाइटेड ब्रुवरीज के बीच गोलबंदी कर भारत में 11 साल तक बीयर कीमतों के मामले में मनमाना करने का खुलासा हुआ है। भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग ;सीसीआई की एक रिपोर्ट से यह जानकारी सामने आयी है। न्यूज एजेंसी राॅयटर्स की एक खबर के मुताबिक इन कंपनियों के टॉप अधिकारियों ने कारोबार के लिहाज से संवेदनशील जानकारी को साझा किया और आपसी गठजोड़ से 11 साल तक देश में बीयर की कीमतों को फिक्स किया। रॉयटर्स ने दावा किया है कि उसने सीसीआई की रिपोर्ट को देखा है। हालांकि अभी इस पर सीसीआई का कोई आदेश नहीं आया है और सीसीआई के वरिष्ठ अधिकारी इस पर कोई निर्णय लेंगे। रिपोट के अनुसार साल 2007 से 2018 के बीच यह गोलबंदी की गयी। सीसीआई की 248 पेज की रिपोर्ट में कहा गया है। ब्रूअर्स ने मिलजुल कर सरकारी मशीनरी का दुरुपयोग किया और उन्हें यह बात अच्छी तरह से पता थी कि उनके इस सामूहिक प्रयास से प्रतिस्पर्धा कानून का उल्लंघन होता है।