लिपिकों की मांगें जल्द पूरी करेगी सरकार, मुख्यमंत्री ने की घोषणा
भोपाल। राज्य सरकार किसानों के बाद अब कर्मचारियों को भी साधने की कोशिश में जुट गई है। बुधवार को प्रदेश के स्थापना दिवस पर आयोजित समारोह में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने ये संकेत दिए हैं। उन्होंने लिपिकों की 23 सूत्रीय मांगों को पूरा करने का भरोसा दिलाया है। इन मांगों को पूरा करने की अनुशंसा हाईपॉवर कमेटी ने की थी। कमेटी ने 14 जुलाई को अपना प्रतिवेदन शासन को सौंपा था।
लिपिकों ने सरकार को ज्ञापन सौंपकर मांगें पूरी करने की अपील की थी। इस पर मुख्यमंत्री ने कर्मचारी कल्याण प्रकोष्ठ के अध्यक्ष रमेशचंद्र शर्मा की अध्यक्षता में कमेटी गठित की थी। करीब आठ महीने की मशक्कत के बाद कमेटी ने 23 मांगों पर अपनी अनुशंसा दी है।
इसमें लेखापालों के संबंध में सरकार निर्णय भी ले चुकी है, लेकिन लिपिक इससे खुश नहीं हैं। वे लेखापालों को दिया जा रहा लाभ ऑडिटरों को देने और ये लाभ एक जनवरी 2016 की बजाय एक जनवरी 1996 से देने की मांग कर रहे हैं।
मप्र लिपिक वर्गीय शासकीय कर्मचारी संघ के संरक्षक सुधीर नायक ने बताया कि सरकार हमारी मांगों को लेकर गंभीर है और हमें पूरी उम्मीद है कि जल्द ही मुख्यमंत्री के वादे के मुताबिक आदेश जारी हो जाएंगे।
हाईपॉवर कमेटी की प्रमुख अनुशंसाएं
– सहायक ग्रेड-तीन संवर्ग का ग्रेड वेतन 1900 के स्थान पर 2400 तय करने और प्रथम समयमान वेतनमान 2800, द्वितीय 3200 और तृतीय 3600 दिया जाए।
– सामान्य प्रशासन विभाग के आदेशों और निर्देशों का पालन उनके जारी होने की दिनांक से कराया जाए।
– जल संसाधन और वन विभाग के लिपिकों को बगैर विभागीय परीक्षा समयमान वेतनमान दिया जाए।
– सहायक ग्रेड-3, सहायक ग्रेड-2, सहायक ग्रेड-1, सहायक अधीक्षक एवं अधीक्षक के आदर्श पदोन्न्ति चैनल घोषित किए जाएं।
– संभागीय लेखापाल और सहायक अधीक्षक संवर्गों को समकक्ष पद घोषित करते हुए उनका वेतनमान एवं ग्रेड-पे समान किया जाए।
– स्वास्थ्य विभाग के अंतर्गत आने वाले गणक संवर्ग को सहायक ग्रेड-दो के समकक्ष घोषित किया जाए।
– अनुकंपा नियुक्ति के माध्यम से सहायक ग्रेड-तीन में आने वाले कर्मचारियों को शिक्षकों की भांति नियुक्ति दिनांक से एक वर्ष बाद बगैर टाइपिंग परीक्षा उत्तीर्ण किए वेतनवृद्धियों का लाभ दिया जाए।
– समान तिथि को समान वेतनमान में सीधी भर्ती, पदोन्न्ति, समयमान से पहुंचने वाले कर्मचारियों का फिक्सेशन समान हो।
– जीएडी वर्तमान परिस्थितियों को देखकर संभाग, जिला, तहसील और विकासखंड स्तर के कार्यालयों के लिए लिपिकीय सेटअप बनाएं।