लोन नहीं मिल रहा है तो ऐसे सुधारें अपना ‘क्रेडिट स्कोर’
आप जब भी लोन के लिए अर्जी देते हैं बैंक सबसे पहले आपका क्रेडिट स्कोर (Credit Score) देखता है। इसी को आधार बनाकर आपको लोन दिया जाता है। इसमें आपके पिछले सभी लोन का पूरा इतिहास होता है। इसके आधार पर आपका स्कोर तय होता। क्रेडिट स्कोर, जो 300 से 900 के बीच होता है। इसमें 300 सबसे खराब और 900 सबसे अच्छा स्कोर है। अगर आपका क्रेडिट स्कोर 750 से 900 के बीच है तो बहुत अच्छा है। अगर आपका स्कोर 750 से कम है तो बैंक आपको लोन देने में आनाकानी करेंगे।अच्छा स्कोर होने पर आपको बाजार में सबसे कम ब्याज दरों पर अॉटो और होम लोन मिल सकता है। जब-तब, एक कम क्रेडिट स्कोर के कारण एक लोन आवेदन रिजेक्ट हो जाता है। लोन (Loan) चुकाने में देरी होने, लम्बे समय तक क्रेडिट कार्ड (Credit Card) का बैलेंस बकाया रहने, इत्यादि के कारण क्रेडिट स्कोर ख़राब हो सकता है। लेकिन यदि आपका क्रेडिट स्कोर कम हो गया है तो चिंता की कोई बात नहीं है। यहाँ बताए गए कुछ तरीकों का इस्तेमाल करके आप अपने क्रेडिट स्कोर को बेहतर बना सकते हैं।पुराने लोन की जांच करें
आपकी क्रेडिट रिपोर्ट में आपकी निजी जानकारी होती है जिसमें आपका पैन नंबर (PAN), संपर्क जानकारी, नियोक्ता सम्बन्धी जानकारी, इत्यादि जानकारियाँ शामिल होती हैं। इसमें आपके क्रेडिट कार्ड और लोन अकाउंट का विवरण भी होता है। आपको इन सभी जानकारियों में विसंगतियों की जांच करनी चाहिए क्योंकि इनमें से किसी भी जानकारी में कोई गलती होने पर आपकी क्रेडिट रिपोर्ट पर उसका बुरा असर पड़ सकता है। यदि आपको ऐसी किसी विसंगति का पता चलता है तो आपको क्रेडिट ब्यूरो से संपर्क करके उसे ठीक करवा लेना चाहिए। चूंकि आपके लेनदारों द्वारा शेयर किए जाने वाले डेटा के आधार पर आपके डेटा की तुलना की जाती है, इसलिए इनमें से किसी में कोई गलती होने पर आपके स्कोर पर असर पड़ सकता है।समय पर बिल का भुगतान करें
आपके क्रेडिट स्कोर को कम करने वाले कई कारकों में से एक है – क्रेडिट कार्ड बिल या लोन के भुगतान में देरी। इसकी वजह से आपको काफी ब्याज भी देना पड़ सकता है। अपने क्रेडिट स्कोर को ठीक रखने के लिए, आपको समय पर अपने लोन और क्रेडिट कार्ड बिल का पूरा भुगतान करना चाहिए। आप अपने बैंक को समय पर अपने आप आपका बकाया चुकाने का ECS आदेश दे सकते हैं। इसके अलावा एक और कारक है जो आपकी रिपोर्ट को ख़राब कर सकता है और वह है – लोन चुकाने से चूक जाना। इसलिए, डिफ़ॉल्टर का दाग लगने से पहले, समय पर अपने बिल का निपटान कर दें।
क्रेडिट यूटिलाइजेशन रेशियो सुधारे
क्रेडिट यूटिलाइजेशन रेशियो (CUR) अर्थात् ऋण उपयोग अनुपात का मतलब है – क्रेडिट कार्डों में कुल क्रेडिट सीमा की तुलना में बाकी क्रेडिट बैलेंस – जिसे प्रतिशत में व्यक्त किया जाता है। उदाहरण के लिए, यदि आपके कार्ड की खर्च सीमा, 100,000 रुपए है और आप एक महीने में 70,000 रुपए खर्च करते हैं तो आपका ऋण उपयोग अनुपात 70% कहलाएगा। आपको एक अच्छा क्रेडिट स्कोर पाने के लिए अपने ऋण उपयोग अनुपात को 20 से 30% के भीतर रखने की कोशिश करनी चाहिए। लोन उपयोग अनुपात अधिक होने पर यही संकेत मिलता है कि आप ऋण के भूखे हैं जिससे आपकी उधार क्षमता कम हो जाती है। आप अपने खर्च को एक से अधिक क्रेडिट और डेबिट कार्डों में विभाजित करके इस अनुपात को कम कर सकते हैं।
बार-बार लोन के लिए अर्जी ना दें
आप जब-जब किसी लोन या क्रेडिट कार्ड के लिए आवेदन करते हैं, तब-तब उधारदाता आपके क्रेडिट के इतिहास को देखता है, जिससे क्रेडिट स्कोर कम हो जाता है। इस तरह, बार-बार आवेदन करने से स्कोर पर बुरा असर पड़ता है। यदि आपका क्रेडिट स्कोर ठीक नहीं है तो हर किसी बैंक में लोन के लिए आवेदन करने से बचें। अपनी खोजबीन के आधार पर कुछ बैंकों और वित्तीय संस्थानों की सूची बनाएं और सिर्फ उन्हीं बैंकों और वित्तीय संस्थानों में आवेदन करें। आपका क्रेडिट स्कोर कैसा है, इसका पता लगाने के लिए, आप ऑनलाइन पर इसे देख सकते हैं।
लोन से परहेज भी न करें
एकदम से लोन लेने से परहेज करने पर आपका कोई क्रेडिट इतिहास ही नहीं रहेगा जिसका मतलब है कि बैंकों के पास आपको उधार देने से पहले देखने के लिए आपका कोई क्रेडिट स्कोर ही नहीं रहेगा। याद रखें कि एक अच्छा क्रेडिट स्कोर आपको थोड़ा कम ब्याज दर पर लोन दिला सकता है। इसलिए, उधार लेने से परहेज न करें। अपना रिकॉर्ड ठीक रखने के लिए एक क्रेडिट कार्ड का इस्तेमाल करें या एक छोटा-मोटा लोन लें और समय पर उनका भुगतान करें। एक साल में 1 बार आप अपनी क्रेडिट रिपोर्ट मुफ्त में ले सकते हैं।