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गुजरात सरकार ने मोटर व्हीकल संशोधन अधिनियम का जुर्माना 90 फीसदी घटाया, पार्टी दफ्तर में तलब किया जाएगा

दिल्ली। मोटर व्हीकल संशोधन अधिनियम के तहत निर्धारित किए गए जुर्माने की राशि को गुजरात सरकार ने 90 फीसदी तक ककम कर दिया है। केंद्र सराकर द्वारा किए संशोधन नियमों को गुजरात सरकार द्वारा किए गए बदलाव से भारतीय जनता पार्टी मुख्यलय में हलचल शुरू हो गई है। पार्टी मुख्यालय गुजरात सीएम विजय रूपाणी को इस मामले को चर्चा करने दिल्ली बुला सकता है।

बुधवार को गुजरात सरकार ने यह कहते हुए मोटर व्हीकल संशोधन अधिनियम के तहत निर्धारित किए गए जुर्माने की राशि में 90 फीसदी कमी कर दी कि यह मानवता के अनुसार जुर्माना नहीं है। गुजरात सरकार के इस कदम से बीजेपी की केंद्र सरकार के सामने संकट खडा हो गया है। सरकार को समझ नहीं आ रहा कि अब अन्य राज्यों की सरकारों पर कैसे दबाव बनाया जाए कि वह अपने राज्यों में नए नियम लागू करें।

-अन्य राज्यों की तुलना में गुजरात अधिक सक्षम

मोटर व्हीकल संशोधन अधिनियम के जुर्माने की राशि जमा करने के ममाले में गुजरात अधिक सक्ष्म है जबकि अन्य राज्य कमजोर है। इसके बाद भी सबसे पहले गुजरात सरकार ने जुर्माने की राशि को 90 फीसदी कम ​किया है। ऐसे में केेंद्र सरकार अन्य राज्यों से लए नियम लागू करने की उम्मीद कैसें कर सकती हे। हलांकि बंगाल सरकाने ने अब नए नियम लागू नहीं किए है वहीं मप्र सहित अन्य कुछ राज्यों में पूर्ण रूप से मोटर व्हीकल संशोधन अधिनियम नहीं किया गया है। यह सभी राज्य भी अब गुजरात सरकार की तर्ज पर जुर्माने की राशि 90 फीसदी कम करने पर विचार कर सकती है।

-परिवहन मंत्री ने कहा कि जान से ज्यादा तो पैसा नहीं….

गुजरात सरकार द्वारा जुर्माने की राशि कम करने के बाद परिवहन केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि सरकार ने लोगोें की जान बचाने के लिए नए नियम बनाए है। लोग यातायात नियमों का पालन नहीं करते है। नियम तोडने में डरते नहीं है। इसलिए जुर्माने की राशि बढाई गई है। अब अगर राज्यों को जान से अधिक जुर्माने की राशि लगती है तो कम कर सकते है।

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